UP Teacher Appointment Rules Change: उत्तर प्रदेश में शिक्षक बनने के नियम बदल गए हैं अब मदरसा शिक्षा परिषद से कामिल और फाजिल डिग्री रखने वाले उम्मीदवार मदरसा में शिक्षक नहीं बन सकेंगे सुप्रीम कोर्ट आदेश के बाद यह बड़ा बदलाव किया गया है अब शिक्षक बनने के लिए अब कामिल या फिर फाजिल डिग्री से काम नहीं चलेगा बल्कि अब इसके लिए ग्रेजुएट और पोस्ट ग्रेजुएट के साथ बेड होना चाहिए इसके बाद टीईटी पास करने वाले अभ्यर्थी मदरसा में शिक्षक बन सकेंगे।
नियमावली में हुआ बदलाव
मदरसा शिक्षकों के लिए नियमावली में बदलाव किया गया था मदरसा की शिक्षा व्यवस्था में सुधार लाने के लिए शासन स्तर से कमेटी गठित की गई थी जिसे शिक्षकों की नए सिरे से योग्यता तय कर दी है संशोधित मदरसा नियमावली 2016 में बदलाव किया गया है अंतिम बैठक के बाद इसे शासन को भेज दिया जाएगा इसके बाद शिक्षकों की नई योग्यता ही मानी जाएगी और इसी के आधार पर मदरसा शिक्षक बन सकेंगे। जो की एक बड़ा बदलाव माना जा रहा है।
सुप्रीम कोर्ट आदेश के बाद हुआ बदलाव
बता दें सुप्रीम कोर्ट ने मदरसा बोर्ड की कामिल और फाजिल की डिग्री यूजीसी से मान्यता न होने के कारण इन्हें असंवैधानिक घोषित कर दिया था इसके बाद मदरसा शिक्षकों की योग्यता का पुनर निर्धारण और पाठ्यक्रम में सुधार दंड प्रक्रिया, स्थानांतरण आदि के लिए भी अल्पसंख्यक कल्याण निदेशक की अध्यक्षता में एक कमेटी गठित की गई थी सूत्रों के अनुसार कमेटी ने संशोधित नियमावली तैयार कर ली है सुप्रीम कोर्ट आदेश के बाद इन शिक्षकों की योग्यता नए सिरे से तय करी जानी थी जिसको लेकर कमेटी काम कर रही थी अब कमेटी ने अपनी पूरी रिपोर्ट तैयार कर ली है और नियमावली में होने वाले सभी संशोधन अंतिम रूप से कर दिए हैं।
अगली कैबिनेट बैठक में रखी जाएगी नियमावली
सूत्रों के माने तो नई संशोधित नियमावली पूरी तरह से तैयार है और कमेटी की अंतिम बैठक जल्द होने वाली है बैठक में संशोधन पर मोहर लगाने के बाद रिपोर्ट शासन को भेज दी जाएगी सूत्रों के माने तो अगली कैबिनेट बैठक में इस नियमावली को रखा जा सकता है मान्यता प्राप्त विश्वविद्यालय से स्नातक या परास्नातक तक बेड के साथ शिक्षक पात्रता परीक्षा पास करने वाले अभ्यर्थी अब यूपी के मदरसा शिक्षक बन सकेंगे सुप्रीम कोर्ट आदेश के बाद यह बदलाव एक बड़ा बदलाव माना जा रहा है इस बदलाव के बाद मदरसा शिक्षा में काफी बदलाव देखने को मिलेगा।
क्या है यूपी में शिक्षक बनने की योग्यता
उत्तर प्रदेश बेसिक शिक्षा विभाग में शिक्षक बनने की बात की जाए तो शिक्षा का अधिकार अधिनियम लागू होने के बाद शिक्षक बनने के लिए एनसीटीई द्वारा निर्धारित न्यूनतम योग्यता ही लागू है जिसमें दो वर्षीय एलिमेंट्री एजुकेशन या B.Ed पास होने के साथ यूपीटीईटी या फिर केंद्रीय शिक्षक पात्रता परीक्षा पास होना चाहिए हालांकि उत्तर प्रदेश की प्राइमरी स्कूलों में शिक्षक बनने के लिए टीईटी के बाद भी सहायक अध्यापक लिखित परीक्षा पास करना पड़ता है उसके बाद ही सहायक अध्यापक के तौर पर नियुक्ति मिलती है।

